गाजियाबाद : नौकरी के नाम पर ठगी करने वाले सगे भाई पकड़े, आफिस खोलकर करते थे ठगी

गाजियाबाद। जार्डन में नौकरी दिलाने का झांसा देकर ठगी करने वाले दो शातिर कौशांबी थाना पुलिस ने पकड़े हैं। दोनों सगे भाई हैं। इनका पूरा गिरोह है, जिसकी पुलिस तलाश कर रही है। आरोपियों के कब्जे से 7 लोगों के 13 पासपोर्ट, दो फर्जी वीजा और दो आधार कार्ड बरामद किए हैं।

डीसीपी निमिष पाटिल ने बताया कि पीड़ित के शिकायत देने पर पुलिस ने मामले में रिपोर्ट दर्ज की थी। साइबर टीम ने जब इसकी जांच की तो पता चला कि साइबर ठगों का ऑफिस वैशाली सेक्टर-4 के महालक्ष्मी टॉवर पर है। टीम ने दबिश दी, तो आरोपी मौके से फरार मिले। फोन नंबर और बैंक खातों से हुए लेन देन से पुलिस आरोपियों तक पहुंची। पुलिस ने ठगी करने वाले दो भाई मुकीम और मुफीद निवासी देवबंद सहारनपुर को गिरफ्तार किया। दोनों भाई 7वीं और 8वीं पास हैं। पूछताछ में पता चला कि दोनों भाइयों ने ठगी करने के लिए एक गैंग बनाया था। गैंग के कुछ सदस्य सोशल मीडिया पर विदेश में नौकरी दिलाने का विज्ञापन देते हैं। विज्ञापन पढ़कर जो लोग उनके झांसे में आता था टीम के अन्य सदस्य उनसे मिलकर उन्हें विदेश में नौकरी के बारे में बताते थे, पासपोर्ट और वीजा के नाम पर उनसे खाते में पैसे जमा कराए जाते थे। वहीं, टीम के कुछ सदस्य बैंकों में आए पैसों को इधर से उधर करने का काम करते हैं। ऑफिस से मीडिया साइट की मदद से फर्जी विजिटिंग कार्ड छपवाकर डालते थे।

बेरोजगारों को फंसाते थे आरोपी
टीम के झांसे में अधिकतर वही लोग आए, जिन्होंने ऑनलाइन नौकरी तलाश की थी। ठगों द्वारा दिए गए विज्ञापन को देखकर उनके जाल में फंस जाते थे। पीडितों के पासपोर्ट व अन्य दस्तावेज लेकर फर्जी बैंक खातों में पैसा मंगाकर आपस में बांट लेते थे।
पूछताछ में पता चला कि मांगेराम निवासी तलेडी जनपद सहारनपुर ठगों को पैसा मंगाने के लिए बैंक खाता उपलब्ध कराता था। ठग पीड़ितों से पैसे इन खाता नंबरों में डलवाते थे। ठग लोगों को विश्वास दिलाने के लिए उनका मेडिकल चेकअप कराते थे। ठगी के पीड़ित जब इन लोगों से वापस संपर्क करते थे, तो आरोपी अपना ऑफिस बदल देते थे।

कई लोगों से कर चुके ठगी
गैंग के सदस्य अपने असली नाम नहीं बताते थे। ठगी के पीड़ित कानपुर निवासी आकाश ने पुलिस में दर्ज कराई रिपोर्ट में बताया कि उन्होंने नौकरी के लिए आवेदन किया तो, उसमान नाम के व्यक्ति ने बात की थी। उसमान का वीजिटिंग कार्ड उन्हें मिला था। विदेश में नौकरी दिलाने के नाम पर एक व्यक्ति का 65 हजार रुपये तय हुआ था। ठगों ने एक व्यक्ति का करीब 80 हजार रुपये मांगा था। पीड़ित ने 4 लोगों के करीब एक लाख 86 हजार रुपये ठगों द्वारा बताए गए खातों में डाल दिए थे। यह पैसे एक कथित बैंक फिनो पेमेंट्स बैंक खाता धारक शिखा सिंह के नाम पर था।

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