इंदिरापुरम की हवा में जहर, प्रशासन उदासीन

साहिबाबाद:- गाजियाबाद में वायु प्रदूषण का स्तर हर दिन खतरनाक होता जा रहा है। सोमवार को केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) की रिपोर्ट के अनुसार, गाजियाबाद का एक्यूआई 323 और इंदिरापुरम का 371 दर्ज हुआ। इंदिरापुरम की हवा गंभीर श्रेणी के करीब पहुंच चुकी है। बावजूद इसके, प्रदूषण नियंत्रण के लिए न तो प्रशासन कोई ठोस कदम उठा रहा है और न ही जिम्मेदारों पर कार्रवाई हो रही है।
इंदिरापुरम में प्रदूषण का बढ़ता संकट
दिसंबर के दूसरे सप्ताह से गाजियाबाद के अधिकांश हिस्सों में वायु गुणवत्ता खराब बनी हुई है। इंदिरापुरम का एक्यूआई लगातार शहर के अन्य इलाकों और यहां तक कि दिल्ली से भी अधिक दर्ज हो रहा है।
कूड़े में आग
इंदिरापुरम और वैशाली में हर दिन कूड़े के ढेर में आग लगाई जाती है, जिससे वायु प्रदूषण का स्तर खतरनाक हो जाता है।
पानी का छिड़काव नहीं:
सड़कों और निर्माण स्थलों पर पानी का छिड़काव नहीं हो रहा है।
ग्रैप नियमों की अनदेखी:
ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (GRAP) के नियमों का पालन न करने वालों पर अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया
प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी विकास मिश्रा का कहना है कि उनकी टीम विभिन्न इलाकों का निरीक्षण कर रही है। उन्होंने आश्वासन दिया कि जहां भी GRAP नियमों का उल्लंघन होगा, कार्रवाई की जाएगी। हालांकि, अब तक इस दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए हैं।
सोमवार को एक्यूआई का हाल
इंदिरापुरम: 371 (गंभीर के करीब)
लोनी: 352
वसुंधरा: 307
संजयनगर: 262
बीते आठ दिनों का एक्यूआई
तारीख           गाजियाबाद (एक्यूआई)     इंदिरापुरम (एक्यूआई)
23 दिसंबर            323                                       371
22 दिसंबर            322                                       369
20 दिसंबर            315                                        380
19 दिसंबर            386                                        425
18 दिसंबर            403                                        423
17 दिसंबर            403                                        442
16 दिसंबर            324                                        380
15 दिसंबर           224                                        246
प्रदूषण से राहत के उपाय
वायु प्रदूषण में सुधार फिलहाल केवल मौसम पर निर्भर दिख रहा है। प्रशासन को निम्नलिखित कदम उठाने की सख्त जरूरत है:
1. कूड़े में आग लगाने वालों पर सख्त कार्रवाई।
2. निर्माण स्थलों और सड़कों पर नियमित पानी का छिड़काव।
3. प्रदूषण फैलाने वालों पर दंडात्मक कार्रवाई।
4. जनजागरूकता अभियान चलाना।
नागरिकों से अपील
प्रशासन के साथ-साथ नागरिकों को भी प्रदूषण नियंत्रण में सहयोग करना चाहिए। निजी वाहनों का कम उपयोग करें, प्लास्टिक कचरे को जलाने से बचें, और पर्यावरण के अनुकूल आदतें अपनाएं।
गाजियाबाद और इंदिरापुरम में वायु प्रदूषण का बढ़ता स्तर स्वास्थ्य के लिए गंभीर खतरा बनता जा रहा है। समय पर ठोस कदम उठाने से ही इस संकट से राहत पाई जा सकती है। प्रशासन और नागरिकों के सामूहिक प्रयास से ही हवा की सेहत को सुधारना संभव होगा।
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