गाजियाबाद। मुरादनगर के नूरपुर गांव में मंगलवार सुबह नीलगाय का शिकार करने वाले तेंदुए की तलाश में वन विभाग की टीम ने गांव में डेरा डाल दिया है। वन विभाग ने खेत में पिंजरा लगा दिया है और मृत नीलगाय के शव को उसी में रख दिया है। साथ ही गांव में एहतियात के तौर पर अकेले निकलने से मना कर दिया गया है।
डिस्ट्रिक्ट फारेस्ट ऑफिसर मनीष सिंह ने बताया कि उन्हें मंगलवार दोपहर तेंदुए की सूचना गांव के लोगों ने दी थी। मौके पर पहुंचकर वन विभाग की टीम ने शाम करीब 4:00 बजे पिंजरा लगा दिया। इसके बाद खेत के आसपास 8 जवान लगाए गए हैं। दो शिफ्ट में ड्यूटी लगाई गई है पहली शिफ्ट शाम छह बजे तक रहेगी। दूसरी शिफ्ट रात में नजर रखेगी। उधर मेरठ की स्पेशल टीम को ही अलर्ट पर रखा गया है।
डीएफओ मनीष सिंह ने बताया, जिस खेत में तेंदुए ने नीलगाय का शव छोड़ा था, वहीं पर पिंजरा लगा दिया गया है। तेंदुए की प्रवृत्ति होती है कि वो जहां जहां शिकार छोड़ता है, वहां दोबारा जरूर आता है। ऐसे में नीलगाय के शव को पिंजरे में ही रख दिया गया है। उम्मीद है कि यहां तेंदुआ जरूर आएगा और पकड़ा जाएगा। फिलहाल ग्रामीणों से कहा गया है कि वे बच्चों को खेतों की तरफ न भेजें और खुद भी अलर्ट रहें।
वहीं ग्रामीणों का कहना है कि इससे पहले 10 फरवरी को गांव त्योड़ी और गांव खिंदौड़ा में भी तेंदुआ देखा गया था। 8 फरवरी को गाजियाबाद कोर्ट परिसर में तेंदुआ घुस आया था, जिसने करीब 10 लोगों को घायल कर दिया था। वो पांच घंटे बाद पकड़ा जा सका था, जिसे सहारनपुर की शिवालिक रेंज में छोड़ दिया गया था। इस घटना के बाद कई दिन तक कोर्ट में फिर तेंदुआ दिखने का हल्ला मचा, लेकिन वो जंगली बिल्ली पाई गई। इसके बाद आरडीसी राजनगर सहित कई इलाकों में तेंदुआ दिखने की बातें सामने आईं, मगर पुष्टि नहीं हो पाई।