बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता दिलीप कुमार का बुधवार सुबह निधन हो गया। वे 98 साल के थे। लंबे समय से उनकी तबीयत ठीक नहीं थी। उन्हें कई बार हॉस्पिटल में भी भर्ती करना पड़ा था। दिलीप कुमार को पिछले एक महीने में दो बार अस्पताल में भर्ती करवाया गया था। आज दिलीप कुमार के निधन के खबर उनके ही ट्विटर हैंडल से उनके दोस्त फैजल फारुखी ने दी है।
दिलीप कुमार का असली नाम मोहम्मद यूसुफ खान था। उन्होंने ‘ज्वार भाटा’ (1944), ‘अंदाज’ (1949), ‘आन’ (1952), ‘देवदास’ (1955), ‘आजाद’ (1955), ‘मुगल-ए-आजम’ (1960), ‘गंगा जमुना’ (1961), ‘क्रान्ति’ (1981), ‘कर्मा’ (1986) और ‘सौदागर’ (1991) समेत 50 से ज्यादा बॉलीवुड फिल्मों में काम किया था।
मोदी ने जताई संवेदना
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया के जरिए कहा है कि दिलीप कुमार जी सिनेमा लेजेंड के तौर पर हमेशा याद रहेंगे। उनका जाना हमारी सांस्कृतिक दुनिया के लिए नुकसान है।
कोरोना से दो भाइयों का इंतकाल हुआ
इससे पहले कोरोना की वजह से पिछले साल दिलीप कुमार के दो छोटे भाइयों का इंतकाल हो गया था। 21 अगस्त को 88 साल के असलम का और फिर 2 सितंबर को 90 साल के अहसान चल बसे। इसके चलते सायरा बानो और दिलीप कुमार ने 11 अक्टूबर को अपनी शादी की 54वीं सालगिरह का जश्न नहीं मनाया था।
पेशावर में हुआ था जन्म
दिलीप साहब का जन्म 11 दिसंबर 1922 को ब्रिटिश इंडिया के पेशावर (अब पाकिस्तान में) में हुआ था। उन्होंने अपनी पढ़ाई नासिक में की थी। करीब 22 साल की उम्र में ही दिलीप कुमार को पहली फिल्म मिल गई थी। 1944 में उन्होंने फिल्म ज्वार भाटा में काम किया था, लेकिन यह कुछ खास प्रदर्शन नहीं कर पाई थी।
करीब 60 फिल्मों में काम किया
दिलीप कुमार ने पांच दशक के करियर में करीब 60 फिल्में कीं। उनके बारे में एक बात और कही जाती है कि उन्होंने अपने करियर में कई फिल्मों को ठुकरा दिया था, क्योंकि उनका मानना था कि फिल्में कम हो लेकिन बेहतर हों। कई लोग बताते हैं कि उन्हें इस बात का मलाल रहा था कि वे प्यासा और दीवार में काम नहीं कर पाए।
पद्म भूषण और पद्म विभूषण अवॉर्ड भी मिले
1991: पद्म भूषण
1994: दादासाहेब फाल्के
2015: पद्म विभूषण
10 बार फिल्मफेयर अवॉर्ड जीते
1954: बेस्ट एक्टर (दाग)
1956: बेस्ट एक्टर (अंदाज)
1957: बेस्ट एक्टर (देवदास)
1958: बेस्ट एक्टर (नया दौर)
1961: बेस्ट एक्टर (कोहिनूर)
1965: बेस्ट एक्टर (लीडर)
1968: बेस्ट एक्टर (राम और श्याम)
1983: बेस्ट एक्टर (शक्ति)
1994: लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड
2005: स्पेशल अवार्ड
नेशनल अवॉर्ड
1961: सैकंड बेस्ट फीचर फिल्म (गंगा जमुना)
1994: (दादासाहेब फाल्के सम्मान)
2006: (स्पेशल लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड) – साभार-दैनिक भास्कर
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