गाजियाबाद : दो महिलाओं से 13.10 लाख की ठगी, साइबर सेल खाते खंगाल रही

गाजियाबाद। जिले में साइबर ठगी के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। पहला मामला इंदिरापुरम की रहने वाली एक महिला और दूसरी कवि नगर इलाके की रहने वाली महिला अध्यापक से 13.10 लाख रुपए की ठगी का मामला सामने आया है। ठगी का एहसास होने के बाद दोनों महिलाओं ने साइबर थाने में शिकायत पत्र देकर कार्यवाही की मांग की है। शिकायत मिलने के बाद दोनों ही ठगी के मामलों में साइबर थाना पुलिस ने पड़ताल शुरू कर दी है। पुलिस का कहना है कि जल्दी दोनों लोगों की रकम वापस करने का प्रयास किया जाएगा। पुलिस अभी पता कर रही है कि इन लोगों से किन-किन खातों में रुपए ट्रांसफर कराए गए हैं।

साइबर थाने में दिए गए शिकायती पत्र में इंदिरापुरम निवासी डॉ. प्रेरणा पूंज ने बताया कि उन्होंने यूके में एफआरसीए के रजिस्ट्रेशन के लिए ऑनलाइन आवेदन किया था। ऑनलाइन आवेदन करने के बाद उनके पास अनजान नंबर से फोन कॉल आने लगी। एक कॉलर ने उन्हें एग्जामिनर डॉक्टर एंडरसन रजिस्ट्रेशन करने का दावा किया। रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया शुरू करने के बाद उसे व्यक्ति ने अलग-अलग तरीके से चार चार खातों में डॉक्टर प्रेरणा से 6.20 लाख रुपए अपने खातों में ट्रांसफर करवा लिए। जब डॉक्टर प्रेरणा का पैसे देने के बाद भी काम नहीं हुआ तब उन्हें ठगी का एहसास हुआ और उन्होंने साइबर थाने में शिकायती पत्र देकर कार्यवाही की गुहार लगाई।

विदेशी कोरियर के नाम पर ठगी
दूसरी ठगी की वारदात कवि नगर थाना क्षेत्र के शास्त्री नगर की रहने वाली महिला अध्यापक विल्सन रानी के साथ हुई है। महिला अध्यापक विल्सन रानी ने बताया उनके फोन पर एक अनजान नंबर से कॉल आई थी। जिस पर फोन करने वाले व्यक्ति ने कोरियर कंपनी का बात कर उन्हें बताया कि उनके नाम से विदेश से एक कोरियर आ रहा है जिसमें गिफ्ट और कुछ करेंसी है। कोरियर रिसीव करने के लिए साइबर अपराधियों द्वारा विल्सन रानी को नियम व शर्तें बताई गई लालच में आकर उन्होंने साइबर अपराधियों के पांच खातों में 6.90 लाख रुपए ट्रांसफर कर दिए। पैसा ट्रांसफर करने के बाद भी जब उन्हें कोरियर प्राप्त नहीं हुआ ना ही उनका रुपए वापस मिले तब उन्हें ठगी का एहसास हुआ और उन्होंने साइबर थाने में शिकायती पत्र देकर कार्यवाही की मांग की। ठगी के दोनों मामलों में एडीसीपी क्राइम सच्चिदानंद ने बताया कि दोनों मामलों में पुलिस बारीकी से जांच कर रही है जल्दी पीड़ितों की रकम वापस करने का प्रयास किया जा रहा है।

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