दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में नाबालिग लड़की से छेड़छाड़ और बलात्कार के मामले में दिल्ली सरकार के सीनियर अफसर को सस्पेंड कर दिया गया है। दिल्ली पुलिस ने पीड़ित लड़की की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है। अधिकारी के खिलाफ पॉक्सो एक्ट की धाराएं भी जोड़ी गई हैं। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अफसर को सस्पेंड करने का आदेश दिया है। साथ ही उन्होंने शाम 5 बजे तक मुख्य सचिव से रिपोर्ट मांगी है।
दिल्ली सरकार की ओर से जारी बयान में बताया गया है कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नाबालिग से बलात्कार के आरोपी महिला और बाल विकास अधिकारी के निलंबन का आदेश जारी किया है। शाम तक मामले में मुख्य सचिव से रिपोर्ट मांगी गई है। बताया जा रहा है कि दिल्ली पुलिस जल्द ही आरोपी अफसर को गिरफ्तार कर सकती है। आरोपी अफसर ने 2020-2021 के बीच बच्ची को अपने घर पर रखा था। उसके पिता भी दिल्ली सरकार में अधिकारी थे लेकिन 2020 में उनकी मौत हो गई थी। दोनों परिवारों में करीबी थी। पिता की मौत के बाद बच्ची को सहारा देने के लिए आरोपी अफसर ने उसे अपने घर में रखा। लेकिन जल्द ही उसे वह अपनी हवस का शिकार बनाने लगा। आरोप है कि इस दौरान बच्ची गर्भवती हो गई तो अफसर की पत्नी ने दवा देकर उसका गर्भपात कराया।
पीड़िता की मां ने पुलिस को बताया कि गर्भपात की वजह से पीड़िता की तबीयत खराब हो गई, जिसके बाद वो उसे लेकर डॉक्टर के पास ले गईं। डॉक्टर ने मां को बताया कि उनकी बेटी के साथ कई महीनों तक यौन शोषण हुआ है। पुलिस ने शिकायत पर केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। आरोपी अफसर पर आईपीसी की धारा 376 (2), 509, 506, 323, 313, 120B और पॉक्सो ऐक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
बेटियां कहां जाएंगी
दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी कर मामले में कार्रवाई के बारे में पूछा है। मालीवाल ने कहा कि दिल्ली में महिला एवं बाल विकास विभाग में उपनिदेशक पद पर बैठे एक सरकारी अधिकारी पर एक बच्ची के साथ यौन शोषण करने का आरोप लगा है। पुलिस ने अभी तक उसे गिरफ्तार नहीं किया है। दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी किया जा रहा है। जिसका काम बेटियों की सुरक्षा करना है वही दरिंदा बन जाएगा तो बेटियां कहां जाएंगी। उन्हें जल्द गिरफ्तार किया जाना चाहिए।
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