आज शाम 6 प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी कैबिनेट का विस्तार करेंगे। इसके लिए 24 नाम फाइनल हो चुके हैं। माना जा रहा है कि आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए उत्तर प्रदेश के 4 चेहरे शामिल किए जा सकते हैं। इन चेहरों में से 2 को कैबिनेट और 2 को राज्य मंत्री का पद दिया जा सकता है।
अभी तक यूपी से जिन नामों की चर्चा हो रही है, उसमें अनुप्रिया पटेल और कौशांबी से सांसद विनोद सोनकर का नाम लगभग फाइनल हो चुका है। खीरी से सांसद अजय कुमार मिश्र और राज्यसभा सांसद बीएल वर्मा का भी नाम लिस्ट में बताया जा रहा है। सभी प्रधानमंत्री आवास पर पहुंचे हैं।
टीम मोदी के नए चेहरे
1. ज्योतिरादित्य सिंधिया
2. सर्वानंद सोनेवाल
3. पशुपति नाथ पारस
4. नारायण राणे
5. भूपेंद्र यादव
6. अनुप्रिया पटेल
7. कपिल पाटिल
8. मीनाक्षी लेखी
9. राहुल कसावा
10. अश्विनी वैष्णव
11. शांतनु ठाकुर
12. विनोद सोनकर
13. पंकज चौधरी
14. आरसीपी सिंह (JDU)
15. दिलेश्वर कामत (JDU)
16. चंद्रेश्वर प्रसाद चंद्रवंशी (JDU)
17. रामनाथ ठाकुर (JDU)
18. राजकुमार रंजन
19. बी एल वर्मा
20. अजय मिश्रा
21. हिना गावित
22. शोभा करंदलाजे
23. अजय भट्ट
24. प्रीतम मुंडे
लीडर से पहले बैंकर रहे ज्योतिरादित्य को मिलेगी अहम जिम्मेदारी
सिंधिया को मध्य प्रदेश में भाजपा को सत्ता में लाने का इनाम दिया जा सकता है। उन्होंने न केवल कांग्रेस छोड़ी, बल्कि अपने करीबी दोस्त राहुल गांधी का भी साथ छोड़ दिया, जिनसे उनके करीबी पारिवारिक रिश्ते भी थे। साथ में 22 विधायक भी लाए और इससे राज्य में भाजपा की सरकार बनी। उनका मोदी कैबिनेट में शामिल होना ऐतिहासिक होगा। वे अपनी दादी राजमाता विजयाराजे सिंधिया के नक्शेकदम पर चल रहे हैं।
सर्वार्थ सिद्धि योग में मंत्रियों का शपथ ग्रहण
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज अपनी कैबिनेट का विस्तार करेंगे। लगभग हर बड़ा काम शुभ मुहूर्त पर करने वाली मोदी सरकार ने नए मंत्रियों को शपथ दिलाने का भी मुहूर्त तय कर लिया है। सूत्रों के मुताबिक, मंत्री शाम 5:30 से 6:30 बजे के बीच शपथ लेंगे। इस दौरान सर्वार्थ सिद्धि योग बन रहा है। इसमें किया गया कोई भी काम सफल होता है।
नए मंत्रालय की जिम्मेदारी यूपी को मिल सकती है
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कैबिनेट विस्तार से पहले मंगलवार को एक नया मंत्रालय मिनिस्ट्री ऑफ को-ऑपरेशन बनाया है। मोदी सरकार इस मंत्रालय के जरिए अपने ‘सहकार से समृद्धि’ के विजन को साकार करेगी। यह मंत्रालय देश में सहकारी आंदोलन को मजबूत करने के लिए अलग से प्रशासनिक, कानूनी और नीतिगत ढांचा उपलब्ध कराएगा। सूत्रों की माने तो इस मंत्रालय की जिम्मेदारी यूपी के किसी बड़े चेहरे को मिल सकती है।
सहकारी आंदोलन को मजबूत करेगा
नए मंत्रालय की शुरुआत के इस ऐतिहासिक कदम का उद्देश्य देश में सहकारी आंदोलन को मजबूत करना है। सरकार इस मंत्रालय के जरिए सहकारी समितियों को जमीनी स्तर तक पहुंचाने का काम करेगी। सूत्रों ने कहा कि अलग सहकारिता मंत्रालय का गठन केंद्रीय वित्त मंत्री द्वारा की गई बजट घोषणा को भी पूरा करता है।
मंत्रालय सहकारी समितियों के लिए ‘व्यापार सुगमता’ यानी ईज ऑफ डूइंग बिजनेस की प्रक्रियाओं को आसान बनाएगा। साथ ही मल्टी-स्टेट को-ऑपरेटिव्ज (MSCS) के विकास को बेहतर करने के लिए काम करेगा। केंद्र सरकार ने कम्यूनिटी आधारित डेवलपमेंटल पार्टनरशिप अपनी गहरी प्रतिबद्धता का संकेत दिया है। सहकारिता के लिए अलग मंत्रालय का गठन भी वित्त मंत्री की ओर से की गई बजट घोषणा को पूरा करता है। साभार-दैनिक भास्कर
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