इस्लामाबाद। पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद की हाईकोर्ट ने इमरान खान को तोशाखाना मामले में बड़ी राहत दी है। हाईकोर्ट ने इमरान खान की सजा पर रोक लगा दी है और उन्हें तत्काल रिहा करने का आदेश दिया है। हालांकि इससे पहले कि इमरान खान जेल से बाहर आते, उन्हें सीक्रेट लेटर चोरी केस (साइफर गेट स्कैंडल) में हिरासत में ले लिया गया।
पूर्व कानून मंत्री और सरकारी वकील अता तराड़ ने जियो न्यूज से कहा कि इमरान की सजा सस्पेंड हुई है। उन्हें बेल मिली है, लेकिन वो फिलहाल जेल से रिहा नहीं हो सकते। इसकी वजह ये है कि साइफर चोरी के मामले में अदालत ने जांच एजेंसियों को 14 दिन का फिजिकल रिमांड दिया है। दरअसल, FIA को सीक्रेट लेटर चोरी (साइफर गेट स्कैंडल) और NAB को 9 मई को हुई हिंसा मामले में खान से पूछताछ करनी है। खास बात ये है कि NAB खान को 90 दिन तक पूछताछ के लिए अपनी हिरासत में रख सकती है। इस दौरान उन्हें सुप्रीम कोर्ट समेत कोई अदालत जमानत भी नहीं दे सकेगी। राहत सिर्फ ये रहेगी कि खान को जेल के बजाय जांच एजेंसी के हेडक्वार्टर के कमरे में रखा जाएगा।
तोशाखाना भ्रष्टाचार मामला क्या है ?
तोशाखाना भ्रष्टाचार मामले में मुख्य न्यायाधीश आमिर फारूक और न्यायमूर्ति तारिक महमूद जहांगीरी की खंड पीठ ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद याचिका पर सोमवार को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। खंड पीठ ने बाद में कहा था कि फैसला मंगलवार को सुनाया जाएगा। अब अपने फैसले में हाईकोर्ट ने इमरान खान को राहत दी है। इस्लामाबाद की एक सत्र अदालत ने पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी (पीटीआई) के 70 वर्षीय अध्यक्ष इमरान खान को तोशाखाना भ्रष्टाचार मामले में पांच अगस्त को तीन साल की जेल की सजा सुनाई थी।
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