जेड-मोड़ सुरंग: भारत की रणनीतिक व पर्यटन धरोहर

भारत ने आज अपने बुनियादी ढांचे के विकास में एक और मील का पत्थर स्थापित किया है। जम्मू-कश्मीर के गांदरबल जिले में 6.5 किलोमीटर लंबी जेड-मोड़ सुरंग का उद्घाटन हुआ, जो गगनगीर को प्रसिद्ध पर्यटन स्थल सोनमर्ग से जोड़ती है। यह सुरंग न केवल क्षेत्रीय कनेक्टिविटी को मजबूत करेगी, बल्कि भारत की रणनीतिक और आर्थिक स्थिति को भी बढ़ाएगी।
जेड-मोड़ सुरंग की प्रमुख विशेषताएं
लंबाई: 6.5 किलोमीटर
स्थान: गगनगीर से सोनमर्ग के बीच
निर्माण अवधि: 2018 से 2025
लागत: लगभग ₹2,400 करोड़
ऊंचाई: यह सुरंग समुद्र तल से लगभग 2,637 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है
यह सुरंग हर मौसम में कनेक्टिविटी प्रदान करेगी, जो पहले भारी बर्फबारी के कारण सर्दियों में अवरुद्ध हो जाती थी।
पर्यटकों के लिए विशेष लाभ
जेड-मोड़ सुरंग के बनने से सोनमर्ग अब हर मौसम में पर्यटकों के लिए खुला रहेगा। पहले, सर्दियों में बर्फबारी के कारण सोनमर्ग की यात्रा असंभव हो जाती थी, लेकिन अब यह सुरंग पर्यटकों को पूरे साल इस अद्भुत पर्यटन स्थल का आनंद लेने का मौका देगी।
शीतकालीन खेलों का आनंद: सर्दियों में सोनमर्ग स्कीइंग, स्नोबोर्डिंग और अन्य बर्फीले खेलों का केंद्र बन सकता है।
प्राकृतिक सौंदर्य: गर्मियों में हरे-भरे पहाड़, झीलें और बर्फ से ढके पहाड़ सोनमर्ग को पर्यटकों के लिए स्वर्ग जैसा बनाते हैं।
पर्यटन स्थल: सोनमर्ग से करीब स्थित अमरनाथ यात्रा के लिए जाने वाले भक्तों के लिए भी यह रास्ता अधिक सुगम और सुरक्षित हो जाएगा।
जेड-मोड़ सुरंग तक कैसे पहुंचे?
निकटतम हवाई अड्डा: श्रीनगर हवाई अड्डा, जो सोनमर्ग से लगभग 80 किलोमीटर की दूरी पर है।
निकटतम रेलवे स्टेशन: जम्मू रेलवे स्टेशन, जो लगभग 350 किलोमीटर की दूरी पर है।
सड़क मार्ग: श्रीनगर से गगनगीर तक सड़क मार्ग के जरिए आप आसानी से पहुंच सकते हैं। वहां से जेड-मोड़ सुरंग के माध्यम से सोनमर्ग जाया जा सकता है।
पर्यटक श्रीनगर से टैक्सी या बस के जरिए सुरंग तक पहुंच सकते हैं। श्रीनगर से सोनमर्ग तक का सफर अब केवल 1.5 घंटे में पूरा हो सकेगा, जो पहले 3-4 घंटे लेता था।
दुनिया की अन्य प्रसिद्ध सुरंगों से तुलना
जेड-मोड़ सुरंग को विश्व स्तर पर अन्य महत्वपूर्ण सुरंग परियोजनाओं की तुलना में काफी महत्व दिया जा सकता है:
1. स्विट्जरलैंड की गॉथर्ड बेस सुरंग: 57 किलोमीटर लंबी यह दुनिया की सबसे लंबी सुरंग है और अल्पाइन क्षेत्र को जोड़ती है।
2. चीन की ग्वांग्झू टनल: यह सुरंग शहरी यातायात को सुगम बनाती है और बड़े पैमाने पर यात्री आवागमन को सक्षम बनाती है।
3. नॉर्वे की लॉर्डल सुरंग: 24.5 किलोमीटर लंबी यह सुरंग सुंदर प्राकृतिक परिदृश्य के बीच स्थित है।
भारत की जेड-मोड़ सुरंग इन सुरंगों की तरह तकनीकी और पर्यावरणीय दृष्टिकोण से अद्वितीय है, क्योंकि इसे पहाड़ी क्षेत्र में कठोर मौसम के बीच बनाया गया है।
जेड-मोड़ सुरंग के लाभ
1. रणनीतिक महत्व
यह सुरंग भारत की सुरक्षा के लिहाज से बेहद अहम है। सोनमर्ग और आगे लद्दाख क्षेत्र तक सैन्य बलों और रसद आपूर्ति को तेज और सुरक्षित बनाएगी। यह सीमा पर सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए एक मजबूत कड़ी साबित होगी।
2. स्थानीय लोगों को रोजगार
सुरंग के निर्माण और संचालन के दौरान सैकड़ों स्थानीय निवासियों को रोजगार मिला है। साथ ही, पर्यटन उद्योग में वृद्धि से होटल, परिवहन और अन्य सेवाओं में रोजगार के अवसर पैदा होंगे।
3. समय और संसाधनों की बचत
पहाड़ी रास्तों पर जो यात्रा पहले घंटों में होती थी, वह अब सिर्फ 15 मिनट में पूरी हो जाएगी। इससे ईंधन और समय की बचत होगी।
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