आज, 28 नवंबर को राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (NIA) ने साइबर धोखाधड़ी से जुड़े कॉल सेंटर के तस्करी नेटवर्क के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की। इस सिलसिले में बिहार, उत्तर प्रदेश, दिल्ली और अन्य राज्यों में 22 स्थानों पर छापे मारे गए हैं। यह गिरोह भारतीय युवाओं को नौकरी के बहाने विदेश भेजता था और उन्हें धोखाधड़ी के फर्जी कॉल सेंटर में काम करने के लिए मजबूर करता था।
इस मामले की जांच में सामने आया कि यह गिरोह एक संगठित नेटवर्क था, जो कमजोर युवाओं को शिकार बनाता था और उन्हें जबरन शोषण और काम में डालता था। NIA के सूत्रों के अनुसार, इस छापेमारी का उद्देश्य उन लोगों और संगठनों को पकड़ना है जो मानव तस्करी और अवैध श्रम के अपराधों में संलिप्त हैं।
गौरतलब है कि भारत में मानव तस्करी एक गंभीर समस्या बन चुकी है, जहां हर साल हजारों लोग तस्करी का शिकार होते हैं। हालांकि, सरकार और कानून लागू करने वाली एजेंसियों ने इस पर कड़ी नजर रखना शुरू किया है और ऐसे नेटवर्क्स को ध्वस्त करने के लिए प्रयास तेज कर दिए हैं। NIA की यह छापेमारी उन अभियानों का हिस्सा है, जो मानव तस्करी के अपराधियों के खिलाफ ठोस कदम उठाने में मदद कर रही है।
भारत में साइबर धोखाधड़ी और तस्करी के मामलों को लेकर जागरूकता बढ़ाने की जरूरत है, ताकि लोग आसानी से शिकार न बनें। NIA की यह कार्रवाई इन अपराधों के खिलाफ एक महत्वपूर्ण पहल है, जो न केवल पीड़ितों को बचाने, बल्कि तस्करी के जाल को खत्म करने के लिए भी एक बड़ा कदम है।
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