गाजियाबाद:- हालात लगातार तनावपूर्ण होते जा रहे हैं, और इसकी वजह बने हैं महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद सरस्वती के हालिया भड़काऊ भाषण। 29 सितंबर को लोहिया नगर स्थित हिंदी भवन में दिए गए अपने भाषण में, नरसिंहानंद ने ऐसी टिप्पणियां कीं, जो शहर की शांति व्यवस्था को बाधित कर सकती हैं। इस घटना के बाद, भाईचारा मंच ने इस मुद्दे को गंभीरता से लिया और मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा, जिसमें उनकी गिरफ्तारी की मांग की गई।
भाईचारा मंच की बैठक रविवार को हापुड़ रोड पर स्थित एक फार्म हाउस में आयोजित की गई। इस बैठक में गाजियाबाद बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष नाहर सिंह यादव ने कहा कि यति का मुख्य उद्देश्य शहर में तनाव और दंगे भड़काना प्रतीत होता है। उन्होंने यह भी याद दिलाया कि इससे पहले हरिद्वार में आयोजित धर्म संसद में भी नरसिंहानंद ने नफरती भाषण देकर समाज में वैमनस्यता फैलाने का प्रयास किया था।
कार्यक्रम के संयोजक बीकेएस चौहान ने चेतावनी दी कि यदि ऐसे भड़काऊ भाषणों पर तुरंत नियंत्रण नहीं किया गया, तो इससे गाजियाबाद में शांति व्यवस्था को गंभीर खतरा हो सकता है। उन्होंने बताया कि प्रशासन को पहले ही इस तरह के कार्यक्रमों की सूचना दी गई थी, जिसके बाद हस्तक्षेप कर कार्यक्रम को रोका गया।
आज़ाद समाज पार्टी के नेता सतपाल चौधरी ने भी इस बात की पुष्टि की कि सिहानी गेट कोतवाली पुलिस ने यति के खिलाफ भड़काऊ भाषण के लिए मामला दर्ज किया है, लेकिन अब तक गिरफ्तारी नहीं हुई है। इससे विभिन्न समुदायों में आक्रोश बढ़ रहा है। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि यति के खिलाफ 50 से अधिक मामले दर्ज हो चुके हैं, लेकिन राजनीतिक संरक्षण के चलते कोई कार्रवाई नहीं हो रही।
भाईचारा मंच की इस बैठक में हाजी ताहिर, जितेंद्र सिद्धार्थ, राम बरन, सलीम, और पुष्पेंद्र सिंह सहित कई अन्य लोग भी शामिल हुए। सभी ने एकजुट होकर शांति और सामंजस्य बनाए रखने की अपील की, ताकि शहर में सांप्रदायिक सद्भावना बनी रहे।
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