गाजियाबाद: युवक की गला रेतकर हत्या, छत पर मिली लाश

गाजियाबाद। मोदीनगर इलाके में युवकी की गला रेतकर हत्या कर दी गई। युवक ई रिक्शा चलाता था। उसका शव छत पर मिला। पुलिस ने शव कब्जे में लेकर उसे पोस्टमार्टम को भेजा। वहीं परिजनों से भी लंबी पूछताछ की गई। वजह है कि घर के भीतर हत्याकांड हुआ है।

बिसोखर निवासी पवन जाटव पुत्र धर्मसिंह बचपन से दिव्यांग था और माता-पिता व दो बड़े भाईयों के साथ गांव में ही रहता था। पवन ई-रिक्शा चालक था। बड़े भाई रोहताश ने बताया कि पवन रोजाना की तरह सुबह एक दुकान पर चाय पीने गया था। सुबह छह बजे के बाद पवन को किसी ने नहीं देखा। धर्मसिंह और रोहताश भी मजदूरी पर चले गए। दूसरा भाई ललित मजदूरी करने बंगलूरू गया हुआ है। मां कश्मीरी देवी अपने मायके गई हुई है। शुक्रवार को घर पर केवल रोहताश की पत्नी मोनिका और दूसरे भाई की पत्नी दीपा व बच्चे ही थे। दोपहर लगभग तीन बजे मोनिका छत पर कपड़े लेने गई। इसी दौरान उसकी नजर स्टोर से बह रहे खून पर पड़ी। दरवाजा खोला तो पवन का रजाई से ढका लहूलुहान शव देखकर मोनिका की चीख निकल गई। शोर सुनकर दूसरे भाई की पत्नी दीपा और बच्चे भी ऊपर छत पर पहुंच गए। पवन का गला रेता शव देखकर चीख-पुकार मच गई। शोर सुनकर मौके पर ग्रामीणों की भीड़ जमा हो गई। डीसीपी ग्रामीण जोन विवेक चंद यादव और एसीपी ज्ञानप्रकाश राय ने मौके पर पहुंचकर मामले की जांच-पड़ताल की। फील्ड यूनिट में भी घटनास्थल से साक्ष्य जुटाए।

रजाई से ढक दी थी लाश
हत्यारोपी ने धारदार हथियार निर्मता से गला रेतकर दिव्यांग पवन की हत्या की। हत्या करने के बाद शव रजाई से ढक दिया और रोशनदान पर कपड़ा लगा दिया ताकि किसी को शव दिखाई न दे। भाभी मोनिका और दीपा छत पर पहुंची तो गला रेता शव देखकर गश खाकर गिर गई। पवन का गला रेता शव देखकर ग्रामीणों का कलेजा भी दहल गया।

परिजनों ने रंजिश से किया इन्कार
ई-रिक्शा चालक के पिता धर्मसिंह ने बताया कि उनका पूरा परिवार मजदूरी करता है। एक बेटा मजदूरी करने बंगलुरू गया हुआ है जबकि बड़ा बेटा और वह मोदीनगर के आसपास के इलाके में ही मजदूरी करते है। धर्मसिंह ने बताया कि उनकी किसी से कोई रंजिश या दुश्मनी नहीं है। हत्या किसने और क्यों की, यह अभी रहस्य बना हुआ है।

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