गाजियाबाद। महमूदपुर गांव में जिले की टीलामोड़ पुलिस ने एसडीएम लोनी की मौजूदगी में राजस्व टीम के सहयोग से प्रमोद हत्याकांड के मुख्य आरोपीय सहित कई लोगों की अवैध संपत्ति को ध्वस्त कराया गया है। इन लोगों द्वारा तालाब और कुएं की सरकारी जमीन पर अवैध कब्जा कर पक्का हुआ कच्चा निर्माण कराया गया था।
एसडीएम लोनी अरुण दीक्षित ने महमूदपुर गांव में 22 अक्तूबर को प्रमोद नाम की एक व्यक्ति की हत्या की वारदात को अंजाम दिया गया था। पुलिस की जांच में हत्या का आरोप सचिन और प्रवीण पर लगा। प्रमोद हत्याकांड के बाद अतिरिक्त पुलिस आयुक्त दिनेश कुमार पी ने हत्या आरोपियों की सम्पत्ति, जमीन व अवैध कब्जों को चिन्हित कर ध्वस्त करने के निर्देश दिए थे। इसी के तहत यह कार्रवाई की गई। पुलिस प्रशासन द्वारा ध्वस्त की गई संपत्ति की कीमत करोड़ों रुपए बताई गई है। अवैध कब्जे में सचिन और प्रवीण के अलावा उनके कई रिश्तेदार और परिजन भी शामिल है। अवैध कब्जे को हटाने जब टीम पहुंची तो वहां लोगों की भीड़ जमा हो गई और टीम के प्रति आक्रोश भी दिखा, लेकिन प्रशासन ने कई थानों की पुलिस फोर्स बुलाकर भीड़ को वहां से दौड़ा दिया और अवैध निर्माण को ध्वस्त कर दिया।
इन लोगों ने किया था जमीन पर अवैध कब्जा
महमूदपुर में के रहने बुद्धराम पुत्र गोधु, टेकराम पुत्र प्रभु मदन पुत्र प्रभु, जयराम पुत्र गोधु,धर्मवीर पुत्र हरचंदी,प्रवीन पुत्र जस्सी उर्फ जसराम,जतन पुत्र बलजीत ने तालाब, कुंए की सरकारी जमीन पर अवैध रूप कच्चा व पक्का का निर्माण कर कराया था। एसडीएम ने बताया कि इनमें कुछ लोग प्रमोद हत्याकांड में आरोपियों के परिवारजन और रिश्तेदार भी हैं।
कई थानों की पुलिस रही तैनात
एसडीएम अरुण दीक्षित की मौजूदगी में टीलामोड़ थाना पुलिस ने प्रमोद हत्याकांड में शामिल आरोपियों की संपत्ति की जांच कर सरकारी संपत्ति से भी अवैध कब्जा हटाया। इस दौरान माहौल और भीड़ को देखते हुए प्रशासन को इंदिरापुरम, लिंकरोड, कौशांबी, साहिबाबाद, शालीमार गार्डन, कौशांबी और खोड़ा थाने से भी पुलिस फोर्स बुलानी पड़ी। भारी पुलिस फोर्स की मौजूदगी में अवैध कब्जा हटाया गया।
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