गाजियाबाद। एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने छापेमारी कर एक करोड़ रुपए की फेंसीडील कफ सिरप बरामद की है। तीन तस्कर भी टीम ने पकड़े हैं। इस सिरप को गद्दों की आड़ में छुपा कर बिहार और पश्चिम बंगाल ले जाया जा रहा था।
एएनटीएफ के डिप्टी एसपी राजेश कुमार सिंह ने बताया कि पकड़े गए तस्करों ने कबूला कि वह इस दवाई को मेरठ से लोड करके पश्चिम बंगाल वाया बिहार पहुंचते हैं। इसके लिए उन्हें डेढ़ लाख रुपए प्रति चक्कर मिलता है। पकड़े गए आरोपियों में सरफराज, युसूफ खान और तुफैल चौधरी हैं। इनके कब्जे से 15 हजार कोडिंग युक्त फेंसीडील कफ सिरप बरामद किया है। जिनकी कीमत एक करोड़ रुपए है। एएनटीएफ के इंस्पेक्टर सौरव विक्रम सिंह ने बताया कि यह लोग भगवानपुर रुड़की से फोम के गद्दे ट्रक में भरवाते थे। गद्दों का ई-बिल बनवाते थे। ट्रक के आगे के हिस्से में सिरप रखकर पीछे गद्दा रख दिया करते थे। जिसकी आड़ में आसानी से इस दवाई को तस्करी करते थे। इनके कब्जे से एक ट्रक और एक कार भी बरामद हुई है। बुधवार को कार में यह लोग कफ सिरप रखकर ट्रक का इंतजार कर रहे थे। यह सभी थाना कौशांबी के इंडस्ट्रियल एरिया क्षेत्र में खड़े थे। इसी दौरान सूचना मिलने पर तस्करों को पकड़ा गया है।
इसलिए होती है तस्करी
टीम के अधिकारियों के मुताबिक सीरप में कोडीन की मात्रा होती है। इसे पीने के बाद नशा हो जाता है। शराब के अपेक्षा ये सीरप सस्ते हैं। इसलिए लोग इन्हें नशे के लिए उपयोग में लाते हैं। हालांकि इसके ज्यादा सेवन से शरीर में दुश्प्रभाव पड़ते हैं। बावजूद इसके लोग सस्ता नशा करने के चक्कर में इसे खरीदते हैं।
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