नैनीताल। उत्तराखंड के नैनीताल में यात्रियों ेस भरी बस खाई में जा गिरी। हादसे में अब तक सात यात्रियों की मौत हो चुकी है। जबकि कई घायल बताए जा रहे हैं। बस में तकरीबन 35 यात्री सवार थे। घायलों का इलाज कराया जा रहा है। जबकि मरने वालों की शिनाख्त कर उनके परिजनों को बुलाने की प्रक्रिया चल रही है।
एसएसपी पीएन मीणा ने बताया यात्रियों से भरी बस नैनीताल से हरियाणा के हिसार लौट रही थी। इसी दौरान बस कालाढूंगी के पास अनियंत्रित होकर खाई में गिर गई। हादसे में सात लोगों की अब तक मौत हो गई। सभी मृतकों के शव कब्जे में लेकर पंचायत नामा की कार्रवाई की जा रही है। जबकि बस खाई में गिरने से फंसे 28 से ज्यादा लोगों को रेस्क्यू किया जा चुका है। सभी घायलों को प्राथमिक उपचार के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कालाढूंगी में भर्ती कराया गया है। कुछ यात्रियों की हालत गंभीर होने पर उन्हें हल्द्वानी रेफर किया गया है। हादसे की सूचना मिलते ही पुलिस और एसडीआरएफ की टीम तत्काल मौके पर पहुंची। जहां दोनों टीमों ने राहगीरों की मदद से रेस्क्यू कर करीब 28 लोगों को सकुशल बाहर निकाल लिया। बाकी अभी सभी टीम रेस्क्यू करने में लगी हुई है, कि बस गिरने से कहीं कोई यात्री इधर-उधर तो नहीं फंसा है। कई यात्री गंभीर जख्मी थे उन्हें हल्द्वानी के अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जबकि कुछ घायलों का सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कालाढूंगी इलाज चल रहा है।
200 फीट गहरी है खाई
एसएसपी पीएन मीणा ने बताया जिस खाई में बस गिरी उसकी गहराई करीब 150 से 200 फीट बताई जा रही है। यात्रियों से भरी बस जैसे ही कालाढूंगी के पास पहुंची वैसे ही बस अनियंत्रित हो गई और खाई में जा गिरी। एसएसपी ने बताया कि अब तक करीब 20 घायलों के नाम सामने आए हैं। जबकि करने वालों के नाम व पता जुटाने की कोशिश की जा रही है। ताकि समय रहते परिवार वाले यहां पहुंच सकें। घायलों से भी उनके नाम-पते की जानकारी जुटाई जा रही है। ताकि उनके परिजनों को भी बुलाया जा सके। हादसा कैसे हुआ, यह स्पश्ट नहीं हो सका है।
इलाकाई लोगों ने किया रेस्क्यू
हादसे के बाद आसपास इलाके के तमाम लोग मौके पर पहुंच गए। पुलिस समेत राहत टीमें आने से पहले ही लोगों ने यात्रियों को बाहर निकालना शुरू कर दिया। बाद में 112 पर सूचना दी गई तो पुलिस से पहले दमकल टीम वहां जा पहुंची और राहत कार्य में जुट गई। इलाकाई लोगों के मुताबिक मैदानी इलाकों के ड्राइवर यहां वाहन चलाते हैं, विपरीत दिशा से वाहन आने पर वो खाई वाली साइड की जगह पहाड़ की ओर वाहन कर देते हैं। रांग साइड के कारण अक्सर वाहन खाई में गिरने के हादसे होते हैं। लोगों का कहना है कि स्थानीय प्रशासन बड़े स्तर पर अभियान चलाकर ऐसी ड्राइविंग पर रोक लगाने की कोशिश नहीं करता।