धुले। महाराष्ट्र के धुले में आक्रांता टीपू सुल्तान के अवैध स्मारक को सरकार के आदेश पर प्रशासन की टीम ने गिरा दिया है। भाजयुमो की शिकायत पर प्रशासन की टीम ने यहां बुलडोजर से स्मारक को गिरा दिया। कार्रवाई के बाद शहर में सुरक्षा व्यवस्था सख्त कर दी गई है।
भारतीय जनता युवा मोर्चा ने इस स्मारक को हटाने की मांग करते हुए गृहमंत्री और राज्य के उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को पत्र लिखा गया था। इसी के साथ एसपी और नगर निगम धुले के आयुक्त को भी पत्र लिखा था। पत्र में कहा गया है, ‘धुले शहर में नगर निगम द्वारा डी-मार्ट से बायपास हाईवे तक 100 फीट की सड़क का निर्माण किया गया है। इस सड़क पर काफी ट्रैफिक रहता है। इसके अलावा, सड़क के दोनों किनारे ज्यादातर मुस्लिमों के घर हैं।”
भाजयुमो के अधिवक्ता रोहित चंदोडे ने इस पत्र में आगे लिखा है, “धुले शहर के विधायक डॉ फारूक शाह ने हिंदुओं की भावनाओं के साथ खिलवाड़ किया है और चौराहे पर बिना किसी सरकारी अनुमति के हिंदू विरोधी टीपू सुल्तान के स्मारक का निर्माण करके अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग किया है।”
शिकायत के बाद अधिकारियों ने कार्रवाई के निर्देश दिए थे। जिला कलेक्टर जलज शर्मा ने बताया कि शहर में चौराहे पर बने स्मारक के निर्माण को ठेकेदार ने शुक्रवार सुबह खुद ही हटा दिया था। उन्होंने कहा कि इस विवाद को सुलझाने में विधायक फारूक शाह की भूमिका अहम है। वहीं, पुलिस अधीक्षक संजय बरकुंड ने कहा कि टीपू सुल्तान का स्मारक बनाने वाले ठेकेदार ने खुद इसे हटा दिया है। इसको लेकर विरोध हो रहा था, क्योंकि टीपू सुल्तान के स्मारक के निर्माण को लेकर नियमानुसार अनुमति नहीं थी। एसपी ने अपील की है कि अफवाहों पर विश्वास ना करें और शांति बनाए रखें।
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