नई दिल्ली। कांग्रेस नेता राहुल गांधी का मुसलमानों के डरे हुए वाले बयान पर अब घिरते हुए नजर आ रहे हैं। AIMIM के मुखिया असदुद्दीन ओवैसी (ने राहुल के बयान को गैरवाजिब बताया है। उन्होंने कहा कि जब कांग्रेस केंद्र में सत्ता में थी तो उनसे गुजरात के मुसलमानों का साथ नहीं दिया।
ओवैसी ने अमेरिका में कांग्रेस नेता राहुल गांधी की टिप्पणी पर पलटवार करते हुए 1980 के दशक में मुसलमानों के खिलाफ हिंसा की कथित घटनाओं का जिक्र किया जब कांग्रेस उत्तर प्रदेश और केंद्र में सत्ता में थी। ओवैसी ने दावा किया कि राजनीतिक धर्मनिर्पेक्षता ने देश में मुस्लिमों को बर्बाद कर दिया और इसका इस्तेमाल संसद और विधानसभाओं में मुस्लिमों का प्रतिनिधित्व खत्म करने के लिए किया गया।
ओवैसी ने कहा कि जब वो सरकार में थे तो मुसलमानों के लिए क्या किया? उन्होंने कहा कि जब आप सरकार में थे तो आपने कुछ नहीं किया। आप सरकार में थे तो गुजरात के लोगों का साथ नहीं दिया। आप सरकार में थे तो पोटा हटाकर और कड़ा कानून UAPA ला दिया। आप सरकार में थे तो जाति जनगणना नहीं लाए। हम भी चाह रहे हैं कि भारत में जाति जनगणना हो। हम भी मानते हैं कि आरक्षण की 50 फीसदी सीमा को खत्म किया जाना चाहिए। कांग्रेस की सरकारों में तो मुसलमानों के साथ हादसे हुए।
इलियासी ने राहुल को बता दिया डरा हुआ
अखिल भारतीय इमाम संगठन के उमर अहमद इलियासी ने भी राहुल के बयान पर पलटवार किया है। इलियासी ने आरोप लगाया कि जो कह रहा है कि मुसलमान डरे हुए हैं, वो खुद डरे हुए हैं। इलियासी ने कहा कि जिन्होंने मुसलमानों की राजनीति की, मुसलमानों को डराकर रखा। वो ही ऐसी बातें कह रहे हैं। उन्होंने कहा कि मुसलमान न कभी डरा है न डरेगा। मुसलमानों के नाम पर जो राजनीति हुई अब मुसलमान समझ गए हैं कि हमें इस्तेमाल किया गया है। हमें डराया गया। जिनको डर है खुद का वो हमें डरा रहे हैं। मुसलमान जिस तरह से देश के अंदर मिलकर चल रहा है। मोदी सरकार में जिस तरीके से वो आगे बढ़ रहे हैं मुझे लगता है कि लोगों को बर्दाश्त नहीं हो रहा है।
राहुल गांधी के बयानों पर बीजेपी ने भी पलटवार किया है। केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि इनके समय में (यूपीए सरकार के दौरान) भारत दुनिया की लड़खड़ाती चरमराती अर्थव्यवस्थाओं में आता था, लेकिन आज पीएम मोदी के नेतृत्व में भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था वाला देश बन गया है। इनके समय में हिंदुस्तान की परंपराओं का गला घोंटा जाता था और यह हर बात के लिए पश्चिमी संस्कृति की ओर देखते थे, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारतीय संस्कृति, सभ्यता और गौरवपूर्ण इतिहास के पुनर्जागरण का कार्य किया है। कांग्रेस की मानसिकता गुलामी की मानसिकता है और ये हमेशा से भारत और भारतीयता को बदनाम करते आए हैं।
केंद्रीय मंत्री ने राहुल गांधी के पहले के बयानों का जिक्र करते हुए कहा कि अगर आप उनके पूर्व के बयानों को देखेंगे तो राहुल गांधी भारत को देश ही नहीं मानते बल्कि राज्यों का संघ मानते हैं। वे लगातार भारत के बढ़ते कदमों पर प्रश्नचिन्ह खड़ा करते हैं। राहुल गांधी बताएं कि इस प्रायोजित कार्यक्रम के द्वारा वह क्या करना चाहते हैं? क्या विदेश जाकर देश के ऊपर कीचड़ उछालना ही उनका एकमात्र काम बच गया है?
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