परालकोट। छत्तीसगढ़ के परालकोट जलाशय में मोबाइल गिरने के बाद लाखों लीटर पानी बर्बाद करने के मामले में तीन अधिकारियों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। नायब तहसीदार की शिकायत पर यह केस दर्ज किया गया है।
पखांजूर में पदस्थ फूड इंस्पेक्टर राजेश विश्वास निवासी पखांजूर रविवार 21 मई को दोस्तों के साथ परलकोट जलाशय पार्टी मनाने पहुंचे थे। पार्टी के दौरान जलाशय के स्कैल वाय के पास उनका कीमती मोबाइल पानी में गिरा। फूड इंस्पेक्टर ने 22 मई को ग्रामीणों को मोबाइल खोजने में लगाया। बात नहीं बनी तो गोताखोर बुलाए, राशन दुकानों के सेल्समेनों को भी लगाया। मोबाइल नहीं मिला, तब जल संसाधन के एसडीओ से मौखिक अनुमति लेकर बांध खाली किया जाने लगा।
चार दिन पंप चलने से स्केल वाय के बकेट में 10 फीट ऊंचा जलस्तर घटकर 4 फीट पर आ गया। मोबाइल भी मिल गया, लेकिन खराब हो गया। सिंचाई अफसरों ने जब पंप बंद करवाए, तब तक 41 लाख लीटर पानी बहाया जा चुका था।
वहीं अब 41 लाख लीटर से ज्यादा पानी खाली करने वाले फूड इंस्पेक्टर राजेश विश्वास, पानी निकालने की कथित मौखिक अनुमति देने वाले एसडीओ आरएल धीवर तथा जल संसाधन विभाग के ही सब इंजीनियर सीएल ध्रुव के खिलाफ पुलिस ने दफा 430 में एफआईआर कर ली है। एफआईआर में आरोप है कि जल संसाधन विभाग पखाजूर के एसडीओ रामलाल धीवर व सब इंजीनियर छोटेलाल ध्रुव के द्वारा राजेश विश्वास के साथ मिलीभगत कर पानी बर्बाद करने में सहयोग किया गया। इन अधिकारियों को विभाग ने सस्पेंड कर दिया है। इससे पहले, फूड इंस्पेक्टर विश्वास के बाद बुधवार को शासन ने एसडीओ धीवर को भी सस्पेंड कर जगदलपुर अटैच किया गया है।
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