भोपाल। मध्य प्रदेश के हबीबगंज रेलवे स्टेशन को 100 करोड़ की लागत से विश्वस्तरीय बना दिया गया है वहीं अब हबीबगंज स्टेशन का नाम बदलने के प्रस्ताव मध्य प्रदेश परिवहन विभाग के उपसचिव के प्रस्ताव को केंद्र की मंजूरी मिल गई है। इस पर रेल मंत्रालय से संबंधित विभागों ने तत्काल कार्रवाई करते हुए प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान कर दी है।
हबीबगंज स्टेशन का नाम रानी कमलापति के नाम पर रखने के पीछे रानी कमलापति की वीरता और पराक्रम है। मध्य प्रदेश परिवहन विभाग के उपसचिव वंदना शर्मा के प्रस्ताव में इस बात का जिक्र है। इस पत्र में लिखा है कि 16वीं सदी में भोपाल क्षेत्र गोंड शासकों के अधीन था। वहीं गोंड राजा सूरज सिंह शाह के बेटे निजामशाह का रानी कमलापति से विवाह हुआ था। रानी कमलापति ने जीवनभर अत्यंत बहादुरी और वीरता के साथ आक्रमणकारियों का सामना किया था। उनकी स्मृतियों को सहेजने और उनके बलिदान के प्रति कृतज्ञता के लिए राज्य सरकार ने भोपाल के हबीबगंज रेलवे स्टेशन का नाम रानी कमलापति के नाम से रखने का निर्णय लिया है।
इस स्टेशन का नाम हबीबगंज क्यों रखा गया है इसे लेकर भी कोई स्पष्ट राय नहीं है। हबीबगंज स्टेशन का नाम बदलने की मांग पिछले दिनों काफी तेजी से उठी थी। कुछ भाजपा नेताओं ने इसका नाम पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर रखने की मांग की थी।
इन नेताओं में सांसद प्रज्ञा ठाकुर, भाजपा के पूर्व मंत्री जयभान सिंह पवैया और प्रभात झा आदि का नाम शामिल है। प्रदेश के भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेताओं ने इस दिशा में रेल मंत्रालय की सकारात्मक पहल का स्वागत किया है।
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