मुरादाबाद। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सपा मुखिया अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए कहा कि सरदार वल्लभ भाई पटेल से जिन्ना की तुलना करना तालिबानी मानसिकता है। सपा की विभाजनकारी मानसिकता को जनता स्वीकार नहीं करेगी। अखिलेश यादव को देश की जनता से माफी मांगनी चाहिए।
सोमवार को मुरादाबाद में आयोजित लोकार्पण और लाभार्थियों को चाबी वितरण समारोह को संबोधित कर रहे थे। सीएम योगी आदित्यनाथ ने सरदार पटेल से जिन्ना की तुलना करने पर अखिलेश यादव को आड़े हाथ लिया। कहा कि सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष का बयान सुना, वह राष्ट्र को जोड़ने वाले सरदार पटेल से जिन्ना की तुलना कर रहे थे। उनका बयान शर्मनाक है। योगी ने कहा कि पूरा देश सरदार पटेल को लौह पुरुष मानता है। ऐसे समय में अखिलेश की सोच फिर से सामने आई है।
उन्होंने देश को तोड़ने वाले जिन्ना को देश को जोड़ने वाले सरदार पटेल के समकक्ष रख दिया है। ये सोच हमेशा तोड़ने में विश्वास रखती है। पहले इन्होंने समाज को जाति के नाम पर तोड़ने की साजिशें रचीं, मंसूबे पूरे नहीं हुए तो महापुरुषों पर लांछन लगाकर पूरे समाज को अपमानित करने का प्रयास किया जा रहा है। उन्हें (अखिलेश) तो पहले से ही समाज को बांटने से फुरसत नहीं थी। विभाजन की उनकी प्रवृत्ति अभी गई नहीं है। इन लोगों की मानसिकता ही समाज को तोड़ने की रही है। यह लोग शुरू से ही तुष्टिकरण की राजनीति करते रहे हैं। सरदार पटेल का अपमान देश हरगिज स्वीकार नहीं करेगा और प्रदेश व देश की जनता अखिलेश को हरगिज स्वीकार नहीं करेगी।
दरअसल, अखिलेश यादव ने रविवार को हरदोई में सरदार पटेल की तुलना जिन्ना से कर दी थी। उन्होंने कहा था कि सरदार पटेल, महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू और जिन्ना एक ही संस्था में पढ़कर बैरिस्टर बनकर आए थे। एक ही जगह पढ़ाई-लिखाई की। वह बैरिस्टर बने और उन्होंने आजादी दिलाई।
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