गाजियाबाद। जीडीए की राजनगर एक्सटेंशन की नर्सरी में तैयार पौधे महानगर की हरित पट्टियों में लहराएंगे। राजनगर एक्सटेंशन में तीन एकड़ एरिया में प्राधिकरण की नई नर्सरी तैयार हो गई है। नर्सरी में विभिन्न प्रकार की प्रजातियों के पौधों की पौध तैयार हो रही है। इनका इस्तेमाल प्राधिकरण की हरित पट्टियों, सेंट्रल वर्ज और पार्कों में किया जाएगा। ऐसे में जीडीए को लाखों की बचत होने के साथ-साथ शहर को सुंदर बनाने में मदद मिलेगी। नई नर्सरी में तैयार हुई पौध को जीडीए ने विभिन्न क्षेत्रों में लगाना भी शुरू कर दिया है।
खर्चों में कटौती के तहत जीडीए की ओर से राजनगर एक्सटेंशन सहित अन्य क्षेत्रों में नई नर्सरी विकसित की जा रही है। बता दें कि प्राधिकरण की ओर से हर साल पौधरोपण अभियान चलाकर लाखों पौधे लगाए जाते हैं। पहले जीडीए की ओर से प्राइवेट नर्सरी से पौधों की खरीद की जाती थी। अब अपनी नर्सरी में ही तैयार पौधों का इस्तेमाल करने से जीडीए को बचत होगी। दूसरी ओर जीडीए की योजना सस्ते दरों पर शहरवासियों को भी नर्सरी से पौधे उपलब्ध कराने की है। जल्द लोग जीडीए की नर्सरी से पौधे खरीद सकेंगे।
महानगर में अब तक जीडीए की केवल इंदिरापुरम में एक नर्सरी है। इसी के चलते शहर में पौधरोपण करने के लिए प्राधिकरण को पौधे खरीदने पड़ते हैं। ऐसे में प्राधिकरण अपनी नर्सरी तैयार कर रहा है। सबसे पहले राजनगर एक्सटेंशन के एसटीपी के पीछे तीन एकड़ में नर्सरी तैयार की गई है। इसके लिए प्राधिकरण ने छह महीने के लिए दस लाख रुपये का टेंडर जारी किया था। इस टेंडर में ठेकेदार को छह महीने के भीतर जमीन को समतल कर पौधे तैयार करने का लक्ष्य दिया गया, जो उसने पूरा किया। जीडीए के अधिकारियों का कहना है कि पौधे तैयार किए जा रहे हैं। अब अगर प्राधिकरण के उद्यान अनुभाग को शहर में कभी भी पौधे लगाने हैं तो वह इस नर्सरी से ही लिए जाएंगे।
दो और नई नर्सरी हो रही हैं तैयार : जीडीए अधिकारियों के मुताबिक राजनगर एक्सटेंशन के अलावा भी कई जगह अन्य नर्सरी बनेंगी। मुख्य रूप से मधुबन-बापूधाम योजना में नहीं नर्सरी तैयार की जा रही है। इसके अलावा इंदिरापुरम की पुरानी नर्सरी को विस्तार दिया जाएगा। इन नर्सरी में तैयार होने वाले पौधों को बेचा भी जाएगा। इन नर्सरियों से आसान और सस्ती दरों पर पौधे बिक्री के लिए उपलब्ध होंगे।
35 किमी लंबी हरित पट्टी व 140 पार्कों में लगेंगे पौधे : महानगर में जीडीए के छोटे-बड़े 140 पार्क हैं। साथ ही 35 किमी लंबी हरित पट्टियों की प्राधिकरण देखभाल करता है। सबसे बड़े पार्क स्वर्णजयंतिपुरम, ग्रीन पार्क, वैशाली के डॉ. भीमराव अंबेडकर पार्क, कृष्ण वाटिका पार्क, पोडियम पार्क, राजेंद्रनगर के राममनोहर लोहिया पार्क, सिटी फॉरेस्ट, सिटी पार्क आदि शामिल हैं। इन सभी में नर्सरी के पौधे इस्तेमाल किए जाएंगे।
कोट..
राजनगर एक्सटेंशन में प्राधिकरण की नर्सरी तैयार हो गई है। प्राधिकरण के क्षेत्र में हरित पट्टियों, सेंट्रल वर्ज और पार्कों में नर्सरी के पौधे इस्तेमाल किए जाएंगे। – संतोष कुमार राय, सचिव, जीडीए
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